विराट कोहली की कमजोरियों पर मांजरेकर की आलोचना, टेस्ट औसत में गिरावट पर चर्चा

विराट कोहली की कमजोरियों पर मांजरेकर की आलोचना, टेस्ट औसत में गिरावट पर चर्चा

कोहली का संघर्ष: ऑफ स्टंप के बाहर गेंदों से परेशानी
दूसरे टेस्ट मैच में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ विराट कोहली की बल्लेबाजी में ऑफ स्टंप के बाहर गेंदों के खिलाफ उनकी कमजोरियां एक बार फिर सामने आईं। एडिलेड ओवल में खेले गए डे-नाइट टेस्ट की पहली पारी में कोहली सिर्फ 7 रन बनाकर मिचेल स्टार्क की गेंद पर आउट हो गए।

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स्टार्क ने 21वें ओवर में एक लंबाई की गेंद फेंकी, जो ऑफ स्टंप के बाहर थी और अचानक ऊपर उठी। कोहली इस गेंद को लेकर असमंजस में थे और आखिरकार गेंद का किनारा लेकर स्लिप में खड़े स्टीव स्मिथ के हाथों में चली गई।

संजय मांजरेकर की प्रतिक्रिया: कमजोरियों को सुधारने की जरूरत

विराट कोहली के आउट होने के बाद पूर्व भारतीय क्रिकेटर संजय मांजरेकर ने उनकी बल्लेबाजी की कमजोरी पर प्रतिक्रिया दी। मांजरेकर ने कोहली के ऑफ स्टंप के बाहर की गेंदों के प्रति उनकी असमर्थता और इसे सुधारने की उनकी अनिच्छा को उनकी निरंतरता में गिरावट का कारण बताया।

मांजरेकर ने ट्वीट करते हुए लिखा,

विराट का औसत अब 48 पर आ गया है, जिसका एक बड़ा कारण ऑफ स्टंप के बाहर उनकी कमजोरी है। लेकिन अधिक महत्वपूर्ण यह है कि वह इसे सुधारने का कोई नया तरीका अपनाने को तैयार नहीं दिखते।

टेस्ट औसत में गिरावट: क्या हैं इसके कारण?

कभी 50 से ऊपर रहने वाला विराट कोहली का टेस्ट औसत 2022 में पहली बार 40 के दशक में पहुंच गया। न्यूज़ीलैंड के खिलाफ घरेलू सीरीज में भी कोहली ने तीन मैचों में सिर्फ 93 रन बनाए, औसत रहा 15.50। इसके बाद ऑस्ट्रेलिया दौरे पर भी कोहली का संघर्ष जारी रहा।

मिचेल स्टार्क की धारदार गेंदबाजी

भारत ने पहले सेशन में अच्छा प्रदर्शन किया था, लेकिन मिचेल स्टार्क ने लगातार ओवरों में केएल राहुल और विराट कोहली को आउट कर भारत के लिए मुश्किलें खड़ी कर दीं। शुबमन गिल भी इसके बाद स्कॉट बोलैंड की गेंद पर एलबीडब्ल्यू आउट हो गए।

दूसरे सेशन में ऑस्ट्रेलियाई तेज गेंदबाजों का दबदबा रहा। स्टार्क ने अपनी अंदर आती गेंदों से रविचंद्रन अश्विन और हर्षित राणा को आउट किया, जबकि पैट कमिंस ने शॉर्ट पिच गेंदों का इस्तेमाल कर भारतीय बल्लेबाजों को परेशान किया।

निष्कर्ष

विराट कोहली, जो एक समय टेस्ट क्रिकेट में अपनी अजेयता के लिए जाने जाते थे, हालिया वर्षों में तकनीकी कमजोरियों और ऑफ स्टंप के बाहर की गेंदों पर संघर्ष करते दिखे हैं। संजय मांजरेकर की आलोचना ने इस बात को उजागर किया है कि इन कमजोरियों पर काम न करने का असर उनकी निरंतरता और औसत पर पड़ा है। कोहली की टेस्ट औसत, जो कभी 50 से ऊपर थी, अब गिरकर 40 के स्तर पर आ गई है। हालांकि, कोहली के पास अब भी अपने खेल में सुधार करने और अपनी खोई हुई लय वापस पाने का समय और क्षमता दोनों है। उनके फैंस और टीम को उम्मीद है कि वह आने वाले मुकाबलों में इस चुनौती का डटकर सामना करेंगे।

पूछे जाने वाले प्रश्न

प्रश्न 1  विराट कोहली की मांजरेकर ने क्या आलोचना की है?

उत्तर  मांजरेकर ने विराट कोहली की हालिया टेस्ट परफॉर्मेंस और उनकी औसत की कमी पर सवाल उठाया है। उन्होंने विशेष रूप से अपनी तकनीकी कमजोरियों और निरंतर प्रदर्शन पर चर्चा की है।

 प्रश्न 2   क्या विराट कोहली की टेस्ट औसत वास्तव में कम हुई है?

उत्तर  जी हां, विराट कोहली की टेस्ट बल्लेबाजी औसत पिछले कुछ सालों में कम हो गई है। हालाँकि, उनके फॉर्म के गिरावट और लंबे समय तक शतक नहीं बनाने के कारण यह गिरावट हुई है।

 प्रश्न 3   मांजरेकर ने क्या कहा जो चर्चा का विषय बना?

उत्तर   मांजरेकर का बयान विवादित हो सकता है क्योंकि विराट कोहली को क्रिकेट जगत में महान खिलाड़ी माना जाता है। अन्य क्रिकेट विशेषज्ञों और उनके प्रशंसकों को उनकी आलोचना करना अक्सर परेशान करता है।

 प्रश्न 4 कोहली की किस कमजोरी पर मांजरेकर ने जोर दिया?

उत्तर   \ मांजरेकर ने विराट की तकनीकी कमियों पर जोर दिया है, विशेष रूप से स्विंग गेंदों के खिलाफ उनकी मुश्किलों पर। उन्होंने कोहली के हाल के प्रदर्शन को उनके पिछले रिकॉर्ड से भी कम बताया।

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